भागवत कृष्ण की कथा है और वे सभी उन्हें श्याम के रूप में जानते हैं जिन्होंने उनके श्यामल वर्ण
सौंदर्य, प्रज्ञा व प्रेम को पाया है। यह रामायाण व महाभारत के बाद तीसरा महान हिंदू
महाकाव्य है। यद्यपि इसका कथानक, हज़ारों वर्षों के दौरान कई अंशों में रचा गया - पहले
हरिवंश में और फिर भागवत पुराण और अंतत विविध प्रांतीय भाषाओं में संत-कवियों के प्रेममयी
गीतों ने इसे इसका रूप प्रदान किया। यह पुस्तक कृष्ण के जन्म से ले कर उनकी मृत्यु तक का
ताना-बाना बुनती है, जिसमें उनके प्रसन्नचित्त स्त्रियों और माखन से ओत-प्रोत जीवन में
अवतरण से ले कर, क्रोधित पुरुषों से रक्त रंजित जगत में आरोहण शामिल है।.